NEET UG 2024 लीक मामले में बनाई गई के. राधाकृष्ण कमेटी की सिफारिशों पर केंद्र सरकार अमल करने का विचार कर रही है। अब एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक केंद्र सरकार NEET UG की परीक्षा को पेन-पेपर से CBT(Computer Based Test) यानी ऑनलाइन आयोजित कराने पर विधार कर रही है। रिपोर्ट के मुताबिक, केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि NTA, स्वास्थ्य मंत्रालय और परीक्षा सुधार के लिए एक्सपर्ट पैनल के परामर्श से सर्वसम्मति बनाई जा रही है।
हाल ही में नई दिल्ली में हाईटेक एजुकेशन की नेशनल वर्कशॉप के उद्घाटन समारोह में केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने राधाकृष्ण कमेटी की सिफारिशों को लागू करने की बात भी की थी। केंद्रीय मंत्री ने कहा था, ”स्टूडेंट्स के एग्जाम को कम करने और सही ढंग से मैपिंग करने के लिए ऑनलाइन टेस्ट, डिजिटल क्वेश्चन पेपर सर्कुलेट करने के साथ ही एक हाइब्रिड मॉडल और एक मल्टी स्टेप्स NEET-UG फार्मेट बनाया जाएगा।
दरअसल, NEET UG 2024 की परीक्षा में कई सेंटरों पर गड़बड़ी के मामले सामने आए थे। जिसके बाद पेपर की पवित्रता पर सवाल उठाए गए थे। मामला संसद से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचा। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर केंद्र सरकार ने ISRO के पूर्व अध्यक्ष के. राधाकृष्ण की अध्यक्षता में एक जांच कमेटी का गठन किया। कमेटी में के. राधाकृष्ण के अलावा रणदीप गुलेरिया(पूर्व डायरेक्टर AIIMS), बीजे राव(पूर्व वीसी हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी), राममूर्ति के(पूर्व प्रोफेसर, IIT मद्रास), पंकज बंसल(मेंबर कर्मयोगी भारत बोर्ड), आदित्य बंसल(प्रोफेसर IIT दिल्ली)गोविंद जायसवाल(जॉइंट सेक्रटरी शिक्षा मंत्रालय) समेत कुल 6 सदस्य शामिल थे।
के. राधाकृष्ण की मुख्य सिफारिशें।
राधाकृष्ण कमेटी ने शिक्षा मंत्रालय को सौंपी अपनी रिपोर्ट में NTA द्वारा कराए जाने वाले दूसरे महत्वपूर्ण एग्जाम को लेकर सुझाव दिए थे। इसके अलावा कमेटी ने NTA के एग्जाम करवाने के ऑवरऑल मैकेनिज्म को बदलने के सुझाव पेश किए थे। जिनपर केंद्र सरकार अमल करने जा रही है।
Government Control Over exam Administration: कमेटी ने सुझाव दिया है कि एग्जाम करवाने की पूरी प्रक्रिया में गवर्नमेंट कंट्रोल बढ़ाना चाहिए। इसमें कहा गया है कि सर्विज प्रोवाइडर से एग्जाम कंडक्ट करवाने की बजाय NTA को अपने खुद के एग्जाम सेंटर्स डेवेलोप करने चाहिए।
Enhanced Data Security: पेपर लीक को रोकने के लिए कमेटी ने सुझाव दिया है कि NTA को NEET के एग्जाम से पहले क्वेश्चन पेपर डिजिटल तरीके से सेंटर तक पहुंचाने चाहिए, जबकि कैंडिडेट्स ऑफ़लाइन मोड में ओएमआर(OMR) सीट भरें। इसके पीछे कमेटी ने तर्क दिया कि डिजिटल मोड में क्वेश्चन पेपर ट्रांसफर होने से पेपर कम लोगों से होकर गुजरेगा।
Multi Stage Examination: रिपोर्ट में कहा गया है कि NEET UG के एग्जाम में कैंडिडेट्स की संख्या हर साल बढ़ती जा रही है, ऐसे में NTA को JEE की तरह NEET में एटेम्प्ट्स में लिमिट सुनिश्चित करने व एग्जाम को मल्टी स्टेज में आयोजित करवाना चाहिए।